हैदरनगर। मुहर्रम का त्योहार प्रारम्भ होते ही हैदरनगर प्रखंड क्षेत्र के बाजार व ग्रामीण क्षेत्र में पर्व मनाने को लेकर लोग उत्साहित दिख रहे हैं। यह महीना मुहर्रम इस्लामी वर्ष हिजरी का पहला महीना होता है। इस महीने को हजरत इमाम हसन व हुसैन रदी अल्लाहो तआला अन्हो और उनके कबीले की शहादत के रूप में याद किया जाता है।
इमाम हसन व हुसैन ने हक़ की लड़ाई में इस्लाम की ख़ातिर अपनी शहादत दी थी। अपनी नाना की उम्मत को बचाने के लिए अपनी शहादत दे दी ,लेकिन यज़ीद के आगे झुके नहीं और दुनिया में अमर हो गए। हक़ की लड़ाई में शहादत देने वालों में दुनिया में सबसे पहला नाम शोहदा ए कर्बला का आता है।
ये भी पढ़ें: कैमूर पहाड़ी के गांव में डायरिया का आतंक: जान जोखिम में डाल पहुंची स्वास्थ्य विभाग की टीम
मुसलमान इस महीने में 10 दिनों तक शोहदाए कर्बला का ज़िक्र सुनते हैं मिलाद और फातेहा ख्वानी होती है, दान किया जाता है, गरीबों को खाना खिलाया जाता है। इस साल भी गाइडलाइन का पालन करते हुए मुहर्रम का त्योहार मनाया जाएगा।