
चद्रंयान-3 मिशन की सफलता के बाद भारत अब सूर्य मिशन को मूर्त रुप देगा। इस मिशन के जरिये इसरो सूर्य का अध्ययन करेगा। यह इसरो का पहला सोलर मिशन है। इसे दो सितंबर को दिन के 11 बज कर 50 मिनट पर श्रीहरिकोटा से प्रक्षेपित किया जायेगा। इसे ‘आदित्य-एल1’ नाम दिया गया है। इसे चार महीने में धरती से 15 लाख किमी दूर एल1(सूर्य-पृथ्वी लाग्रेंज बिंदु) तक पहुंचना है। इस अंतरिक्ष यान को सौर कोरोना (सूर्य की सबसे बाहरी परतों) के दूरस्थ अवलोकन और एल1 पर सौर वायु के यथास्थिति अवलोकन के लिए तैयार किया गया है। जिसे इसे पीएसलवी सी 57 रॉकेट के जरिए प्रक्षेपित किया जायेगा ।
